बेटियां खेलों को बनाएं अपना करियरः अंजू

मेरे माता-पिता ने हमेशा बढ़ाया हौसला खेलपथ प्रतिनिधि ग्वालियर। दानापुर रेल मंडल की महिला रेल कर्मचारी अंजू कुमारी का खेल जज्बा अब भी कायम है। दो बच्चों की मां अंजू मास्टर्स एथलेटिक्स में अपने दमदार प्रदर्शन से हर किसी को हैरत में डाल देती हैं। अंजू बताती हैं कि मुझे बचपन से खेलों से लगाव है। मेरी पढ़ाई-लिखाई चेन्नई में हुई है। जहानाबाद न.......

जांबाज पुलिस इंस्पेक्टर नीरज शर्मा के जज्बे को सलाम

खेलों ने दिलाया राष्ट्रपति सेवा मेडल नूतन शुक्ला कानपुर। जिस उम्र में प्रायः खिलाड़ी मैदान छोड़ देते हैं उस उम्र में जांबाज पुलिस इंस्पेक्टर नीरज शर्मा जैसे लोग मानदरेवतन का मान बढ़ाने के लिए दिन-रात एक करते हैं। नीरज को असम्भव शब्द से नफरत है। इनका मानना है कि असम्भव शब्द नकारात्मकता का सूचक है। नीरज शर्मा की कभी हार न मानने की प्रबल इच.......

कानपुर में क्रिकेट की शान अरविन्द सोलंकी

स्वयं की एकेडमी से निकाल रहे भविष्य के सितारे नूतन शुक्ला कानपुर। उत्तर प्रदेश में क्रिकेट की बात होते ही आम क्रिकेटप्रेमी की नजर में पतित पावनी गंगा तीरे स्थित नयनाभिराम ग्रीनपार्क स्टेडियम की तस्वीर घूम सी जाती है। इस मैदान का इतिहास काफी गौरवशाली है। क्रिकेट के इस मंदिर से इस खेल के काफी पुजारी निकले हैं जिन्होंने कानपुर की शान-ओ-शौकत.......

फिर डोपिंग में फंसे दो वेटलिफ्टर

यूनिवर्सिटी गेम्स के छीने जाएंगे पदक खेलपथ प्रतिनिधि नई दिल्ली। वेटलिफ्टिंग में डोपिंग का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा है। खेलो इंडिया यूथ खेलों में चार वेटलिफ्टर डोप में फंसने के बाद अब राष्ट्रीय वेटलिफ्टिंग चैम्पियनशिप में स्वर्ण और रजत पदक जीतने वाले दो लिफ्टर डोप में पॉजिटिव पाए गए हैं। कोलकाता में दो से सात फरवरी को हुई इस चैम्पियनशिप में रजत पदक जीतने वाला पुरुष लिफ्टर ऑल इंडिया इंटर रेलवे में .......

भारत में कोरोना से लड़ाई लड़ेगा ताई ची

ऑनलाइन पाठशालाओं के जरिए संक्रमितों को ताई ची कराने की कोशिश खेलपथ प्रतिनिधि नई दिल्ली। कोरोना जब चीन के वुहान में तबाही मचा रहा था तो उस दौरान जिंदगी और मौत के बीच जंग लड़ने वालों की तीमारदारी में जुटे डॉक्टरों, पैरामेडिकल स्टाफ के अलावा एकांतवास में मौजूद संक्रमितों का बड़ा सहारा वुशू मार्शल आर्ट ताई ची बनी थी। एशियाई खेलों के अलावा 2022 यूथ ओलम्पिक में शामिल यह मार्शल आर्ट शरीर प्रतिरोधी क्षमता को बढ़ाने का बड़ा हथियार मानी जाती ह.......

खेल टलने से खिलाड़ियों की वर्षों की मेहनत अकारथः निश्चल जोशी

कोरोना संक्रमण से खेलों पर पड़ा विपरीत प्रभाव नैनीताल। कोरोना वायरस ने विश्व को जितनी क्षति पहुंचाई है उतनी ही क्षति खिलाड़ियों को भी पहुंची है। खिलाड़ी को एक दिन का खाना न मिले तो ज्यादा फर्क नहीं पड़ता लेकिन अगर उसे एक दिन भी प्रैक्टिस का मौका न मिले तो उसे मानसिक असंतुष्टि के साथ लगभग 50 दिन के खेल का नुकसान हो जाता है। कोरोना वायरस की वजह से जहां टोक्यो ओलम्पिक एक साल के लिए टल गए हैं वही.......

भारतीय महिला हॉकी टीम ने जुटाए 20 लाख रुपये

बेंगलुरु। भारतीय महिला हॉकी टीम ने कोविड-19 महामारी के खिलाफ लड़ाई में मदद के लिए 20 लाख रुपये की राशि जुटाई है। भारतीय टीम ने 18 दिन के 'फिटनेस चैलेंज के जरिये यह पैसा जुटाया है जो तीन मई को खत्म हुआ। इस चुनौती के जरिये कुल 20,01,130 रुपये एकत्रित किए गए। यह पैसा दिल्ली स्थित एनजीओ उदय फाउंडेशन को दान किया गया है। इस पैसे का इस्तेमाल विभिन्न स्थानों पर मरीजों, प्रवासी श्रमिकों और झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वालों की मूलभूत जरूरतों पर खर्च किया .......

सामाजिक दूरी के समय में मुक्केबाज नहीं कर सकेंगे 'स्पारिंग ट्रेनिंग'

नई दिल्ली। राष्ट्रीय शिविर में ट्रेनिंग शुरू होने में अभी समय लगेगा लेकिन जब यह शुरू होगी तो भी कोविड-19 महामारी के भय के चलते मुक्केबाज स्पष्ट दिशानिर्देशों के आने तक कोई 'स्पारिंग' (जोड़ीदार के साथ अभ्यास) नहीं कर पाएंगे। छह बार की विश्व चैंपियन एमसी मैरीकॉम ने स्पष्ट किया कि वह ऐसे समय में किसी के साथ ट्रेनिंग करने की सिफारिश नहीं करेंगी जब हाथ से छूने से भी संक्रमित होने की संभावना है।  उन्होंने कहा, ''कुछ समय के लि.......

मध्य प्रदेश के उत्कृष्ट खिलाड़ियों से खिलवाड़

अब नहीं तो कब मिलेगा इन्हें सेवा का अवसर 24 साल से दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं उत्कृष्ट खिलाड़ी श्रीप्रकाश शुक्ला ग्वालियर। मध्य प्रदेश खेल एवं युवा कल्याण विभाग के जवाबदेह अधिकारियों की अकर्मण्यता के चलते उसके सात उत्कृष्ट खिलाड़ी आज दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं। लगभग 24 साल पहले खेल एवं युवा.......

खेलों की नायाब शख्सियत संजय को कानपुर का सलाम

हर पल खेलों को जीता जौनपुर का योद्धा नूतन शुक्ला कानपुर। मुसाफिर वह है जिसका हर कदम मंजिल की चाहत हो, मुसाफिर वह नहीं जो दो कदम चल करके थक जाए। जी हां संजय कुमार सिंह खेलों के कभी न थकने वाले नायाब योद्धा हैं। खेल इनकी रग-रग में समाये हुए हैं। ऐसा हो भी क्यों नहीं इन्हें खेल विरासत में जो मिले हुए हैं। राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लगभ.......