शतरंज ओलम्पियाड विजेताओं का स्वदेश लौटने पर भव्य स्वागत
खिलाड़ियों ने अगले मिशन का किया खुलासा, देश गौरवान्वित
खेलपथ संवाद
चेन्नई। शतरंज ओलम्पियाड 2024 में ऐतिहासिक स्वर्ण पदक जीतने के बाद स्वदेश लौटने पर भारतीय शतरंज टीमों का जोरदार स्वागत किया गया। प्रशंसक, अधिकारी और परिवार के सदस्य टीमों की असाधारण उपलब्धि का जश्न मनाने के लिए कतार में खड़े थे। पुरुष और महिला दोनों टीमों ने हंगरी में इतिहास रचते हुए इस प्रतिष्ठित टूर्नामेंट में अपना पहला स्वर्ण पदक जीता। उनकी जीत ने शतरंज की दुनिया में एक उभरती हुई ताकत के रूप में भारत की स्थिति को मजबूत किया।
चार सदस्यीय टीमों के हवाई अड्डे से बाहर आने पर जोरदार जयकारे और जश्न के साथ घर वापसी का जश्न मनाया गया। खिलाड़ियों को उनके समर्थकों ने प्यार और प्रशंसा से नवाज़ा। कप्तान श्रीकांत नारायणन के अनुसार, स्वर्ण पदक वर्षों की कड़ी मेहनत का परिणाम है। उन्होंने कहा कि भारत का अगला लक्ष्य विश्व चैम्पियन बनना होगा, और इस साल के अंत में गुकेश के इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए हर कोई उनका उत्साहवर्धन करेगा। उन्होंने कहा, "हमारे पास ओलम्पियाड स्वर्ण है, अब हम भारत में विश्व चैम्पियन भी चाहते हैं, इसलिए हम गुकेश का उत्साहवर्धन करेंगे।"
गुकेश ने भारत के लिए शीर्ष बोर्ड पर शानदार प्रदर्शन किया और 10 खेलों में से नौ अंक हासिल किए। अपने प्रदर्शन पर बात करते हुए उन्होंने कहा, "ओलंपियाड में मैंने इसे एक व्यक्तिगत स्पर्धा के रूप में लिया था। मैं इस विशेष टूर्नामेंट में अच्छा प्रदर्शन करना चाहता था। मैं अपने और टीम के प्रदर्शन से बहुत खुश हूं।" उन्होंने कहा, "परिणाम इस बात का सबूत है कि हम कई चीजें सही कर रहे थे और हमारी भावना सही थी। बुडापेस्ट में जो कुछ भी हुआ, उससे मैं वास्तव में खुश हूं।" अब उनका ध्यान नवंबर-दिसंबर में गत चैंपियन चीनी ग्रैंडमास्टर डिंग लीरेन के खिलाफ होने वाले महत्वपूर्ण विश्व चैम्पियनशिप मुकाबले पर रहेगा।
उन्होंने कहा, "विश्व चैम्पियनशिप के लिए मेरी फॉर्म अच्छी है और फिलहाल मैं काफी खुश हूं। अभी कुछ महीने बाकी हैं और मैं कड़ी मेहनत करूंगा और पूरी तरह तैयार रहूंगा।" अगर यह किशोर खिलाड़ी सफल होता है, तो वह महान विश्वनाथन आनंद के बाद यह खिताब जीतने वाला पहला भारतीय बन जाएगा। आनंद ने अपने शानदार करियर में पांच बार विश्व खिताब जीता है।