ज्योति याराजी और अनिमेष कुजूर को स्वर्ण

पदक तालिका में सेना शीर्ष पर बरकरार
खेलपथ संवाद
देहरादून।
बाधा दौड़ की स्टार खिलाड़ी ज्योति याराजी और फर्राटा धावक अनिमेष कुजूर ने मंगलवार को राष्ट्रीय खेलों में अपना क्रमश: दूसरा और तीसरा स्वर्ण पदक जीता जबकि पैदल चाल के 15 खिलाड़ियों ने खेलों के पिछले रिकॉर्ड से बेहतर प्रदर्शन किया। सेना इस बीच पदक तालिका में शीर्ष पर बरकरार है। 
इससे पहले 100 मीटर और चार गुणा 100 मीटर का खिताब जीतने वाले ओडिशा के 21 वर्षीय कुजूर ने 20.58 सेकेंड के समय के साथ पुरुषों की 200 मीटर दौड़ में भी स्वर्ण पदक जीता। उनका यह समय गुजरात में 2022 में असम के अमलान बोरगोहेन के 20.55 सेकेंड के राष्ट्रीय खेलों के रिकॉर्ड से थोड़ा अधिक था।
सौ मीटर बाधा दौड़ की स्वर्ण पदक विजेता आंध्र प्रदेश की 25 वर्षीय याराजी ने महिलाओं की 200 मीटर दौड़ में 23.35 सेकेंड का समय लेकर स्वर्ण पदक अपने नाम किया। दिल्ली की मध्यम दूरी की धाविका केएम चंदा ने महिलाओं की 800 मीटर में अपने ही राष्ट्रीय खेलों के रिकॉर्ड में सुधार किया। उन्होंने दो मिनट 0.82 सेकेंड के समय से स्वर्ण पदक जीता और 2022 प्रतियोगिता के दो मिनट 1.58 सेकेंड के राष्ट्रीय खेलों के अपने पिछले रिकॉर्ड को बेहतर किया। उन्होंने इससे पहले 1500 मीटर में भी स्वर्ण जीता था।
मंगलवार को सेना ने नौ स्वर्ण सहित 17 पदक जीते और 54 स्वर्ण, 22 रजत, 21 कांस्य सहित कुल 97 पदक के साथ शीर्ष पर बना हुआ है जबकि खेलों में अब केवल दो दिन बचे हैं। पिछले सत्र की शीर्ष टीम महाराष्ट्र 144 पदक (41 स्वर्ण, 51 रजत, 52 कांस्य) के साथ दूसरे स्थान पर है। कर्नाटक 75 पदक (33 स्वर्ण, 18 रजत, 24 कांस्य) के साथ तीसरे स्थान पर है जबकि हरियाणा (28 स्वर्ण, 40 रजत, 44 कांस्य) और मध्य प्रदेश (25 स्वर्ण, 18 रजत, 18 कांस्य) शीर्ष पांच में शामिल हैं।
इससे पहले सुबह के सत्र में अभूतपूर्व नतीजे में राष्ट्रीय खेलों की महिला 10 किलोमीटर पैदल चाल स्पर्धा पूरी करने वाली सभी नौ प्रतिभागियों ने 26 साल पहले बने खेलों के रिकॉर्ड समय से बेहतर प्रदर्शन किया। स्पर्धा में 11 प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया लेकिन दो स्पर्धा को पूरा नहीं कर पाईं। 
राष्ट्रीय रिकॉर्ड धारक प्रियंका गोस्वामी ने अपनी प्रविष्टि भेजी थी लेकिन उन्होंने स्पर्धा में हिस्सा नहीं लिया। मणिपुर में 1999 के बाद इस स्पर्धा की राष्ट्रीय खेलों में वापसी हुई है। पिछले साल 20 किलोमीटर स्पर्धा में राष्ट्रीय अंतर राज्यीय और राष्ट्रीय ओपन चैंपियनशिप जीतने वाली हरियाणा की रवीना ने 45.52 सेकेंड के समय के साथ स्वर्ण पदक जीता। उन्होंने 1999 खेलों के दौरान इम्फाल में बनाए मणिपुर की वाई बाला देवी के 51.56 सेकेंड के खेलों के पिछले रिकॉर्ड में सुधार किया। रवीना के बाद स्पर्धा पूरी करने वाली आठ प्रतिभागियों ने भी 51.56 सेकेंड के खेलों के पिछले रिकॉर्ड से बेहतर प्रदर्शन किया।
उत्तराखंड की शालिनी (46.12 सेकेंड) ने रजत जबकि उत्तर प्रदेश की मुनिता प्रजापति (46:23 सेकेंड) ने कांस्य पदक जीता। तमिलनाडु की मोकावी मुथुराथिनम (46.23 सेकेंड), उत्तराखंड की पायल (47.36 सेकेंड), उत्तर प्रदेश की रेशमा पटेल (48.16 सेकेंड), उत्तराखंड की मानसी नेगी (48.32 सेकेंड), महाराष्ट्र की सेजल सिंह (49.33 सेकेंड) और हरियाणा की मोनिका (51.45 सेकेंड) ने भी पिछले राष्ट्रीय रिकॉर्ड से बेहतर समय निकाला।
हालांकि, सिर्फ रवीना के समय को राष्ट्रीय खेलों के नए रिकॉर्ड के रूप में जगह मिली। पुरुष 20 किमी पैदल चाल में 10 में से छह प्रतिभागियों ने एक घंटा 23 मिनट 26 सेकेंड के राष्ट्रीय खेलों के पिछले रिकॉर्ड से बेहतर प्रदर्शन किया। यह रिकॉर्ड झारखंड के गुरमीत सिंह ने 2011 में बनाया था। सेना के सर्विन सबेस्टियन ने एक घंटा 21 मिनट 23 सेकेंड के निजी सर्वश्रेष्ठ समय के साथ स्वर्ण पदक जीता। उनका पिछला निजी सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन एक घंटा 21 मिनट 39 सेकेंड था।
पेरिस ओलंपिक 2024 की मैराथन पैदल चाल मिश्रित रिले स्पर्धा में प्रियंका गोस्वामी के साथ प्रतिस्पर्धा करने वाले उत्तराखंड के सूरज पंवार ने एक घंटा 21 मिनट 34 सेकेंड के समय से रजत पदक जीता जबकि पंजाब के अमनजोत सिंह (एक घंटा 21 मिनट 42 सेकेंड) ने कांस्य पदक हासिल किया। पेरिस ओलंपियन सेना के परमजीत सिंह बिष्ट (एक घंटा 22 मिनट दो सेकेंड), उत्तर प्रदेश के राम बाबू (एक घंटा 22 मिनट 26 सेकेंड) और राजस्थान के मुकेश निथरवाल (एक घंटा 22 मिनट 52 सेकेंड) ने भी राष्ट्रीय खेलों के पिछले रिकॉर्ड से बेहतर प्रदर्शन किया।
पुरुष 800 मीटर दौड़ में सेना के मोहम्मद अफजल एक मिनट 49.13 सेकेंड के समय के साथ शीर्ष पर रहे जबकि पुरुषों की तार गोला फेंक स्पर्धा में सेना के ही तरणवीर सिंह बैंस ने 66.64 मीटर के प्रयास से स्वर्ण पदक जीता। पुरुषों की त्रिकूद में तमिलनाडु के प्रवीण चित्रावेल ने 16.50 मीटर के प्रयास से स्वर्ण पदक अपने नाम किया जबकि महिलाओं की हेप्टाथलन में तेलंगाना की नंदिनी अगासरा 5601 अंक के साथ शीर्ष पर रहीं।
टेनिस में गुजरात की वैदेही चौधरी ने महाराष्ट्र की वैष्णवी अडकर को सीधे सेट में हराकर महिला एकल खिताब जीतकर अपना दूसरा स्वर्ण पदक जीता। सोमवार को जील देसाई के साथ महिला युगल का स्वर्ण पदक जीतने वाली वैदेही ने एकल फाइनल में वैष्णवी को 6-4, 6-4 से हराया। पुरुष एकल का स्वर्ण सेना के इशाक इकबाल ने जीता जिन्होंने पहला सेट गंवाने के बाद वापसी करते हुए गुजरात के देव जाविया को फाइनल में 3-6, 6-4, 7-6 से शिकस्त दी।
लोहित अक्ष बद्रीनाथ और लक्ष्मी प्रभा अरुण कुमार की तमिलनाडु की जोड़ी ने फाइनल में निकी के पूनाचा और सोहा सादिक की कर्नाटक की जोड़ी को 6-4, 6-1 से हराकर मिश्रित युगल का स्वर्ण पदक जीता। महाराष्ट्र ने मंगलवार को जिम्नास्टिक प्रतियोगिता के चौथे दिन पांच स्वर्ण और दो रजत पदक जीते। एक्रोबैटिक जिम्नास्टिक महिला समूह (सीनियर) में महाराष्ट्र ने 61.730 अंकों के साथ स्वर्ण पदक जीता जबकि पुरुष समूह (सीनियर) में भी 64.650 अंक के साथ स्वर्ण पदक हासिल किया।
एक्रोबेटिक मिश्रित युगल (सीनियर) में महाराष्ट्र की रिद्धि सचिन जायसवाल और शुभम सुनील सरकटे ने 52.250 अंकों के साथ स्वर्ण पदक जीता जबकि महाराष्ट्र की निक्षिता सुरेश और रुतुजा दत्तात्रेय ने महिला युगल(सीनियर) में 51.250 अंकों के साथ शीर्ष स्थान हासिल किया> महाराष्ट्र के लिए पांचवां स्वर्ण पुरुषों की ट्रैम्पोलिन स्पर्धा में आयुष संजय मुले ने जीता। उन्होंने 48.740 अंकों के साथ शीर्ष स्थान हासिल किया।
पुरुष युगल (सीनियर) और ट्रैम्पोलिन महिला वर्ग में महाराष्ट्र ने रजत पदक जीते। जूडो प्रतियोगिताओं में मेजबान उत्तराखंड की उन्नति शर्मा ने महिलाओं की 63 किग्रा स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता जबकि महिलाओं की 70 किग्रा श्रेणी में शीर्ष पुरस्कार हरियाणा की गरिमा चौधरी के नाम रहा। पुरुषों की 81 किग्रा श्रेणी में पंजाब के हर्षप्रीत सिंह ने शीर्ष स्थान हासिल किया जबकि मध्य प्रदेश के भारम कुमार वत्स ने पुरुषों की 90 किग्रा स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता।

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