खेल निदेशालय के निर्णय से खिलाड़ियों में निराशा

मामला आवासीय खेल छात्रावासों के लिए चयन ट्रायल का
25 खिलाड़ियों का मानक पूरा करना बना चुनौती
खेलपथ संवाद
लखनऊ।
खेल निदेशालय उत्तर प्रदेश लखनऊ के निर्णयों से प्रतिभाशाली खिलाड़ियों में निराशा व्याप्त है। आवासीय खेल छात्रावासों के लिए चल रही चयन ट्रायल में 25 खिलाड़ियों की संख्या ही फसाद की मुख्य वजह बन रही है। कई जनपदों में खिलाड़ियों का चयन ट्रायल नहीं होने से उन्होंने हंगामा किया और कहा कि खेल विभाग के हिटलरशाही रवैये से ही ऐसी स्थिति निर्मित हो रही है।
खेल छात्रावासों में चयन ट्रायल के लिए सोमवार को सुल्तानपुर के पंत स्पोर्ट्स स्टेडियम में जिम्नास्टिक, तैराकी, कुश्ती, हॉकी, वालीबाल, फुटबाल, बैडमिंटन, टेबल टेनिस व क्रिकेट ट्रायल की तिथि मुकर्रर थी। ट्रायल देने के लिए दूर-दराज से स्टेडियम पहुंचे खिलाड़ी उस समय निराश हो गए, जब उन्हें ट्रायल स्थगित किए जाने की सूचना दी गई। बताया गया कि हर खेल में 25 खिलाड़ियों का मानक तय है। उससे कम खिलाड़ी होने पर ट्रायल नहीं होगा। इसके बाद खिलाड़ियों ने स्टेडियम में जमकर हंगामा किया।
क्रीड़ा अधिकारी ने दोबारा ट्रायल कराने का आश्वासन दिया, उसके बाद खिलाड़ी वापस घर लौट गए। पंत स्पोर्ट्स स्टेडियम में सोमवार को स्पोर्ट्स हॉस्टल में प्रवेश के लिए जिम्नास्टिक, तैराकी, कुश्ती, हॉकी, वालीबाल, फुटबाल, बैडमिंटन, टेबल टेनिस व क्रिकेट में ट्रायल के लिए आयोजन की तिथि नियत की गई थी। इन खेलों में ट्रायल के लिए सोमवार को सुबह आठ बजे से ही बड़ी संख्या में विभिन्न खेलों के खिलाड़ी इकट्ठा हो गए थे।
ट्रायल के लिए अलग-अलग खेलों के हिसाब से खिलाड़ियों की गिनती शुरू की गई। इसके बाद सर्वाधिक खिलाड़ी क्रिकेट के निकले। क्रिकेट के 25 खिलाड़ी रहे, जबकि अन्य खेलों के खिलाड़ियों की संख्या 25 से कम थी। इस पर स्टेडियम के बाबू ने शासनादेश का हवाला देते हुए बताया कि जिस खेल में 25 खिलाड़ी से कम होंगे, उसका ट्रायल नहीं होगा। यह पता लगने के बाद सुबह आठ बजे से ट्रायल का इंतजार करने वाले खिलाड़ी निराश हो गए। खिलाड़ियों ने स्टेडियम परिसर में एकत्र होकर हंगामा भी किया।
खिलाड़ियों ने आरोप लगाया कि वे पूरी तैयारी से आए थे। ट्रायल स्थगित होने से उन्हें दिक्कत झेलनी पड़ी है। कुछ खिलाड़ियों ने बताया कि शासनादेश की जानकारी उन्हें अचानक दी गई। इसकी सूचना पर जिला क्रीड़ा अधिकारी शीला भट्टाचार्या भी मौके पर पहुंच गईं। उन्होंने खिलाड़ियों को मंगलवार को फिर से ट्रायल कराए जाने का आश्वासन दिया। जिला क्रीड़ा अधिकारी शीला भट्टाचार्या ने बताया कि सोमवार को सिर्फ क्रिकेट के 25 खिलाड़ियों का ट्रायल हो सका है। शेष खेलों के ट्रायल बाद में होंगे।
हर खेल में 25 खिलाड़ियों की उपस्थित होने के बाद ही ट्रायल कराए जाने के आदेश ने खिलाड़ियों की परेशानी बढ़ा दी है। खेल विभाग के अधिकारियों के समक्ष इस लक्ष्य को पूरा करना चुनौती बना हुआ है। काफी समय से स्टेडियम में खेल प्रशिक्षकों की कमी चल रही है। ऐसे में अलग-अलग खेलों में खिलाड़ियों की संख्या नहीं बढ़ सकी है। जो भी हो जिले में तैनात खेल अमला तो खेल निदेशालय के ही हुकुम का गुलाम है।

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