राजीव एकेडमी की शैक्षिक व्यवस्थाओं में आया क्रांतिकारी बदलाव

वातानुकूलित कक्षाएं और शैक्षिक व्यवस्थाएं लगा रहीं युवाओं के सपनों को पंख

मथुरा। उच्च शिक्षा के क्षेत्र में राजीव एकेडमी फॉर टेक्नोलॉजी एण्ड मैनेजमेंट संस्थान सिर्फ मथुरा ही नहीं समूचे उत्तर प्रदेश में अपनी विशिष्ट शिक्षा सुविधाओं तथा नवाचारी प्रयासों के लिए जाना जाता है। प्रतिवर्ष यहां के छात्र-छात्राएं शिक्षा ही नहीं रोजगार के क्षेत्र में भी अपनी मेधा का परचम फहरा रहे हैं। इसकी मुख्य वजह राष्ट्रीय शिक्षा नीति के नवाचारी प्रयासों को आत्मसात कर यहां अध्ययन करने वाले छात्र-छात्राओं में नया विश्वास पैदा करना है। राजीव एकेडमी की वातानुकूलित कक्षाओं का आरामदायक और ध्यान केंद्रित करने वाला वातावरण भी छात्र-छात्राओं में नई ऊर्जा का संचार करता है।

आर.के. एज्यूकेशनल ग्रुप के अध्यक्ष डॉ. रामकिशोर अग्रवाल  का कहना है कि राजीव एकेडमी ने अपने स्थापना काल से ही छात्र-छात्राओं को बदलते समय के अनुरूप उच्चस्तरीय शैक्षिक सुविधाएं प्रदान की हैं। यहां अध्ययन करने वाले विद्यार्थियों को रटने नहीं बल्कि सीखने की सीख दी जाती है। छात्र-छात्राएं शांत वातावरण में ठंडी हवा के बीच अध्ययन करें इसके लिए एयर-कंडीशंड क्लास-रूम की व्यवस्था को मूर्तरूप दिया गया। इस बदलाव से छात्र-छात्राओं के व्यवहार और प्रदर्शन में न केवल बदलाव आया बल्कि वे पढ़ाई को लेकर ज्यादा सतर्क दिखे। डॉ. अग्रवाल का कहना है कि वातानुकूलित कक्षाओं से जहां बेहतर शैक्षणिक परिणाम मिले वहीं छात्र-छात्राओं की याददाश्त और संज्ञानात्मक कार्य में भी बहुत सुधार आया।

निदेशक डॉ. अभिषेक सिंह भदौरिया का कहना है कि आज के प्रतिस्पर्धात्मक और सूचना क्रांति के दौर में प्रत्येक युवा राजीव एकेडमी के व्यावहारिक और व्यावसायिक माहौल में प्रवेश लेकर अपने सपनों को साकार करना चाहता है। उसे पता है कि यहां उसे हर वह सुविधा और मार्गदर्शन मिलेगा, जोकि उनकी जरूरत है। डॉ. भदौरिया का कहना है कि राजीव एकेडमी में छात्र-छात्राओं को औद्योगिक क्षेत्र के अनुरूप तैयार करने की व्यवस्थाएं जहां सुदृढ़ हैं वहीं युवा पीढ़ी को कारपोरेट जगत के तौर-तरीके और इंडस्ट्रियल ढांचे के अनुरूप नॉलेज प्रदान करने के लिए संस्थान का कम्पनी टैली, अपग्रेड, इन्फोसिस फाउण्डेशन, बजाज फिनिसर, डुकैट आदि से भी अनुबंध है।

छात्र-छात्राओं के अभिज्ञान में बढ़ोत्तरी के लिए यहां सामान्य रूप से सेमिनार तथा कार्यशालाओं के माध्यम से विषय विशेषज्ञों के अनुभवों का लाभ उन्हें दिलाया जाता है। नियमित रूप से आयोजित होने वाली कार्यशालाओं से छात्र-छात्राओं को एडवांस एक्सल, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंसी, मशीन लर्निंग, डिजिटल मार्केटिंग, साइबर सिक्योरिटी कम्युनिकेशन एण्ड स्किल एनहॉसमेंट आदि की गूढ़तम जानकारी मिलती है। राजीव एकेडमी में साल भर छात्र-छात्राओं को अतिथि विषय विशेषज्ञों का मार्गदर्शन भी मिलता रहता है।

शिक्षा की उच्चस्तरीय व्यवस्थाएं होने से यहां के दर्जनों छात्र-छात्राएं विभिन्न संकायों में विश्वविद्यालय स्तर पर अपनी मेधा का परचम फहरा चुके हैं। यही मेधावी भावी पीढ़ी का प्रेरणास्रोत होते हैं। तृप्ति कश्यप, सुरभि अग्रवाल जहां विश्वविद्यालय स्तर पर बीसीए में अपनी विशिष्ट छाप छोड़ चुकी हैं वहीं मनीषा गौतम ने एमएड में गोल्ड मेडल जीता है। राजीव एकेडमी में कई शासकीय प्रोजेक्टों पर भी काम होता है, जिसका लाभ विद्यार्थियों को मिलता रहता है। प्लेसमेंट की बात करें तो यहां के छात्र-छात्राओं के एक हाथ में डिग्री तो दूसरे हाथ में जॉब लेटर होता है। इस साल यहां के छात्र-छात्राओं को राष्ट्रीय तथा बहुराष्ट्रीय कम्पनियों में उच्च पैकेज पर जॉब मिले हैं। एक छात्र का 25 लाख रुपये सालाना के पैकेज पर चयन हुआ है।

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