आयरा और अंसा ने मॉस्को स्टार वुशू में एक साथ स्वर्ण जीते

ऐसा करने वाली पहली कश्मीरी जुड़वां बहनें बनीं
खेलपथ संवाद
नई दिल्ली।
श्रीनगर की आयरा और अंसा चिश्ती जुड़वां बहनें हैं। दोनों की पसंद और नापंसद भी एक समान है और अब दोनों ने एक साथ मास्को स्टार वुशू टूर्नामेंट में स्वर्ण पदक भी जीता। आयरा को एक नजर में मार्शल आर्ट वुशू पसंद आया तो अंसा ने भी थोड़ी हिचकिचाहट के बाद इसे अपना लिया। 
पिता इलेक्ट्रिकल इंजीनियर और मां मेडिकल कॉलेज में फिजियोलॉजी की प्रोफेसर हैं। दोनों ने जब वुशू को अपनाया तो माता-पिता को ताने सुनने पड़े। कहा गया, लड़कियां हैं, इन्हें नहीं खेलना चाहिए, चोट लग गई तो चेहरा खराब हो जाएगा, इनसे शादी कौन करेगा, लेकिन माता-पिता ने किसी की नहीं सुनीं। वही बेटियां कश्मीर की पहली ऐसी जुड़वां बहनें बनी हैंं, जिन्होंने एक साथ किसी अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में स्वर्ण जीते। आयरा तो जूनियर विश्व चैम्पियनशिप में पदक जीतने वाली पहली कश्मीरी बेटी भी हैं।
आयरा बताती हैं कि उनके माता-पिता ने उन्हें वुशू में इसलिए आगे बढ़ाया, क्योंकि वे चाहते हैं कि हम दोनों कुछ अलग करें। आयरा और अंसा ने मास्को में 52 और 56 किलो भार वर्ग में स्वर्ण जीता। दोनों बुधवार को भारत लौटी हैं और अब अगली परीक्षा की तैयारी में जुट गई हैं। दोनों के पास बायोलॉजी है और शनिवार को उनकी बोर्ड की परीक्षा भी है। आयरा बताती हैं कि मास्को में वह दो-दो परीक्षाओं के दौर से गुजर रही थीं। एक ओर वह स्वर्ण पदक की लड़ाई लड़ रही थीं तो खाली समय में यूट्यूब और ऑनलाइन क्लास के जरिए परीक्षाओं की भी तैयारियां कर रहीं थीं।
विश्व चैम्पियनशिप में पदक जीतने वाली पहली कश्मीरी बेटी
आयरा के वुशू से जुड़ने की कहानी भी दिलचस्प है। वह बताती हैं कि उन्हें मार्शल आर्ट्स की फिल्में देखना पसंद है। एक दिन वह स्टेडियम गईं, जहां खेलो इंडिया के ट्रायल चल रहे थे। इस दौरान एक लड़के के चेहरे पर चोट लग गई और उसके खून बहने लगा। उन्होंने उसी वक्त प्रण लिया कि वह इस खेल को अपनाएंगी। हालांकि अंसा शुरुआत में थोड़ा हिचकिचाईं, लेकिन बहन को देखकर उन्होंने वुशू खेलना शुुरू कर दिया। 18 वर्षीय आयरा ने 2022 की जूनियर विश्व चैम्पियनशिप में कांस्य पदक जीता। वह विश्व चैम्पियनशिप में पदक जीतने वाली पहली कश्मीरी महिला एथलीट बनीं। आयरा और अंसा का सपना है कि दोनों एक साथ 2026 के एशियाई खेलों में प्रतिनिधत्व करें और वहां देश के लिए स्वर्ण पदक जीतें।

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