भारतीय वॉलीबाल टीम की कोरिया पर शानदार जीत

तीन बार के विजेता कोरिया को हराकर नॉकआउट में बनाई जगह
मनोज के लगातार तीन अंकों ने दिलाई जीत
खेलपथ संवाद
हांगझोऊ।
भारतीय वॉलीबाल महासंघ के खेल मंत्रालय से प्रतिबंधित होने के बावजूद वॉलीबाल टीम ने बुधवार को एशियाई खेलों में बड़ा उलटफेर कर दिया। भारत ने जकार्ता एशियाई खेलों में रजत पदक जीतने वाली और तीन बार एशियाड का स्वर्ण जीत चुकी कोरिया को पांच सेटों के संघर्ष में 25-27, 29-27, 25-22, 20-25, 17-15 से पराजित कर पूल सी में शीर्ष पर रहते हुए नॉकआउट दौर में प्रवेश कर लिया। 
भारतीय टीम ने यह मुकाबला दो घंटे और 38 मिनट में मैच प्वाइंट बचाकर जीता। भारत की वॉलीबाल में विश्व रैंकिंग 73 है, जबकि कोरिया 27वें रैंक की टीम है। भारत ने अंतिम बार एशियाई खेलों में कांस्य पदक 1986 के एशियाई खेलों में जीता था। वॉलीबाल महासंघ के विवादों के चलते देश में लंबे समय से इस खेल की गतिविधिया ठप्प पड़ी हैं।
भारत ने मंगलवार को कंबोडिया को सीधे सेटों में हराकर जीत से शुरुआत की थी, लेकिन कोरिया के खिलाफ मुकाबला आसान नहीं था। यह टीम 1966 से 2018 तक प्रत्येक एशियाई खेल में पदक जीतती आई है। 1978, 2002, 2006 की चैंपियन कोरिया सात बाद एशियाई खेलों में रजत पदक जीत चुकी है। ऐसे में इस देश पर जीत हासिल करना बड़ी बात है।
भारत की शुरुआत अच्छी नहीं रही पहले सेट में 10-13 से पिछडऩे के बाद भारतीय टीम ने 19-19 की बराबरी हासिल की, लेकिन अंत में यह सेट उसे 25-27 से गंवाना पड़ा। दूसरे सेट में भारत ने शुरू सेे बढ़त बनाई, लेकिन 24-25 और 25-26 से पिछडऩे के बाद उसने यह सेट 29-27 से जीता। तीसरे सेट में भी भारत शुरू से हावी रहा और 25-22 से जीत हासिल की। चौथे सेट में कोरिया ने वापसी करते हुए इसे 20-25 से जीता। पांचवें और निर्णायक सेट में भारत 8-6 की बढ़त पर था। स्कोर 12-12 हुआ। यहां से भारत ने 14-12 स्कोर कर दो मैच प्वाइंट हासिल किए, लेकिन कोरिया ने बचाव करते हुए 14-15 की बढ़त के साथ मैच प्वाइंट हासिल कर लिया। यहां से मंजूनाथ मनोज ने कमाल का स्पाइक लगाकर बराबरी दिलाई। इसके बाद उन्होंने एश्वल राय के साथ दो खूबसूरत ब्लाक कर भारत को 17-15 से जीत दिला दी। लिबेरो हरीप्रसाद और कप्तान विनीत कुमार ने भी शानदार खेल दिखाया।

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