एक पारी में आठ छक्के लगाने के बाद विराट ने खोला राज
इन तीन लोगों को दिया बैटिंग में बदलाव का श्रेय
खेलपथ संवाद
नई दिल्ली। भारतीय टीम के स्टार बल्लेबाजी विराट कोहली ने टीम इंडिया की थ्रोडाउन तिकड़ी डी राघवेंद्र, नुवान सेनेविरत्ने और दयानंद गरानी को अपनी बल्लेबाजी में बड़ा बदलाव लाने का श्रेय दिया है। थ्रोडाउन स्पेशलिस्ट नेट्स पर बल्लेबाजों के अभ्यास के लिए लगातार 140 से 150 किमी घंटे की रफ्तार से गेंदबाजी करते हैं। इसके लिए वह एक लंबे डंडे का उपयोग करते हैं, जिसके एक छोर में हैंडल होता है और दूसरे छोर में गेंद को पकड़ने के लिए सांचा होता है।
श्रीलंका के खिलाफ नाबाद 166 रन की मैच जिताऊ पारी खेलने के बाद विराट कोहली ने कहा "इन तीनों ने हमें हर बार खेलने के लिए विश्व स्तरीय अभ्यास दिया है। वे हमें किसी भी 145 या 150 किमी प्रति घंटे के तेज गेंदबाजों की तरह नेट्स में चुनौती देते हैं। वे हमेशा हमें आउट करने की कोशिश करते हैं और यह सुनिश्चित करते हैं कि वे नियमित रूप से हमारी परीक्षा लें।"
विराट के अलावा शुभमन गिल ने भी श्रीलंका के खिलाफ वनडे सीरीज के तीसरे मैच में शतक लगाया। इसके बाद उन्होंने विराट कोहली का इंटरव्यू भी लिया। इस दौरान कोहली ने कहा "कभी-कभी, उनकी गति बहुत तेज लगती है। ईमानदारी से कहूं तो इसकी वजह से मेरे करियर में काफी अंतर आया। मैं पहले जहां था और आज जहां हूं, उसमें इस अभ्यास का बहुत योगदान है।"
कर्नाटक के राघवेंद्र, जिन्हें 'रघु' के नाम से जाना जाता है, राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी से बीसीसीआई में शामिल हुए, और टीम इंडिया में शामिल होने वाले पहले व्यक्ति थे। वह नियमित रूप से बल्लेबाजी के उस्ताद सचिन तेंदुलकर और पूर्व भारतीय कप्तान एमएस धोनी को थ्रोडाउन देते थे। भारत ने 2018 में बाएं हाथ के श्रीलंकाई सेनेविरत्ने को बाएं हाथ के तेज गेंदबाजों के लिए तैयार करने में मदद करने के लिए काम पर रखा था। दयानंद कोलकाता पुलिस में एक स्वयंसेवक नागरिक हैं। वह पहले किंग्स इलेवन पंजाब के साथ थे। 2020 में रघु कोरोना संक्रमित हुए थे। इसके बाद वह टीम इंडिया के साथ जुड़े और अब भारतीय स्टाफ के नियमित सदस्य बन गए हैं।
विराट ने कहा, 'इन लोगों को काफी श्रेय जाता है, जिन्होंने हमें नियमित अभ्यास कराया और उनका योगदान अविश्वसनीय रहा है। आप लोगों को उनके नाम और चेहरे याद रखने चाहिए क्योंकि हमारी सफलता के पीछे इन लोगों ने काफी मेहनत की है।" इस पर गिल ने कहा "इन तीनों को मिलाकर 1200 से 1500 विकेट होते। वे हमें मैच में आने वाली सभी प्रकार की परिस्थितियों के लिए तैयार करते हैं।" भारत ने अंतिम वनडे मैच में श्रीलंका को 317 रन से हराकर सीरीज 3-0 से अपने नाम की। इस सीरीज में कोहली ने तीन मैचों में दो शतक लगाए।
कोहली ने इसे वनडे विश्व कप वर्ष के लिए एक आदर्श शुरुआत बताते हुए कहा "यह एक शानदार शुरुआत रही है। कुछ समय हो गया है जब मैंने इस तरह से साल की शुरुआत की थी... एक शतक बनाया और फिर सीरीज में दो शतक बनाए और मैं मैन ऑफ द सीरीज भी बन गया। मैं बस इस बात से खुश हूं कि विश्व कप वर्ष में, मैं इस तरह से शुरुआत करने में सक्षम हूं, और मुझे पता है कि मैं लगातार ऐसा कर सकता हूं। जब मैं इस तरह से शुरुआत करता हूं और मुझे आत्मविश्वास महसूस होने लगता है, तो चीजें आमतौर पर अच्छी होती हैं। टीम एक बल्लेबाजी इकाई के रूप में अच्छी तरह से खेल रही है। खाकर टॉप ऑर्डर कमाल कर रहा है।"
कोहली ने गिल को घर में अपना पहला शतक बनाने के लिए बधाई दी। गिल ने सीरीज के तीसरे मैच में 97 गेंदों पर 116 रन बनाए। कोहली ने कहा "भारत में आपके पहले शतक के लिए बधाई। आप पहले मैच में एक शतक के हकदार थे। आज भी आपने शानदार प्रदर्शन किया और भविष्य में घर और बाहर कई और आएंगे। शुभमन के साथ बल्लेबाजी करने में मुझे वास्तव में मजा आया। हमने बहुत ज्यादा बार लंबे समय तक बल्लेबाजी नहीं की। लेकिन आज के दिन हमारी अच्छी साझेदारी थी और इससे टीम को भी मदद मिली।" दोनों ने दूसरे विकेट के लिए 131 रनों की साझेदारी की, जिससे भारत ने 390/5 का विशाल स्कोर खड़ा किया और श्रीलंका को 73 रनों पर समेटकर वनडे इतिहास की सबसे बड़ी जीत हासिल की।
शुभमन गिल ने कहा "पहले वनडे मैच में आउट होना निराशाजनक था। मैं उस मैच में कुछ बड़ा करना चाह रहा था, लेकिन दुर्भाग्य से, नहीं हो पाया। कोलकाता में भी, मैं अच्छा खेल रहा था, लेकिन अपनी शुरुआत को बदलने में असफल रहा। आज यही था कि अगर शुरूआत अच्छी होती है तो लंबा जाने की कोशिश करूंगा। मैंने टेस्ट मैचों में भी महसूस किया है कि मैंने वहां थोड़ा रन छोड़े थे। जब हम बीच में थे, तो आपने मुझसे कहा था कि आज मैं बड़ा स्कोर करने जा रहा हूं और आपने शुरुआत से ही लय बदल दी।"