अबरार अहमद ने डेब्यू टेस्ट में सात विकेट लिए
संगकारा-जयवर्धने कर चुके हैं तारीफ
मुल्तान। पाकिस्तान के अबरार अहमद ने इंग्लैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट में सात विकेट लेकर तहलका मचा दिया है। यह उनका डेब्यू मैच है और उसकी पहली पारी में ही अबरार ने अपनी मिस्ट्री स्पिन से इंग्लिश बल्लेबाजों को परेशान कर दिया। वह डेब्यू टेस्ट में पांच विकेट लेने वाले पाकिस्तान के 13वें गेंदबाज बन गए। अबरार ने जैक क्राउली, बेन डकेट, ओली पोप, जो रूट, हैरी ब्रुक, बेन स्टोक्स और विल जैक्स समेत सात बल्लेबाजों को पवेलियन भेजा।
24 साल के अबरार अहमद ऑन पेपर लेगब्रेक बॉलर हैं। हालांकि, वह गुगली, कैरम बॉल बड़ी आसानी से फेंक सकते हैं। वह गेंद को स्पिन कराने के लिए अपनी उंगलियों का बेहतरीन इस्तेमाल करते हैं। इसी वजह से उन्हें मिस्ट्री स्पिनर भी कहा जा रहा है। वह पाकिस्तान के लिए खेलने वाला अपनी तरह की कला वाले पहले खिलाड़ी हैं। अबरार पश्तो बोलते हैं, लेकिन उनकी पैदाइश कराची की है और वहीं पले-बढ़े हैं। उनका परिवार देश के उत्तर से शहर में चला गया। इस गांव का नाम शिंकियारी है, जो कि काराकोरम राजमार्ग पर एबटाबाद के पास मनसेहरा के बाहरी इलाके में स्थित एक छोटा सा गांव है। वह कराची के लाइन्स एरिया में टेप-बॉल क्रिकेट खेलते हुए बड़े हुए।
गेंद को स्पिन कराने की उनकी असाधारण क्षमता ने स्थानीय कोचों का ध्यान खींचा। कराची में जोन-थ्री शहर के सभी सात क्रिकेट क्षेत्रों में सबसे कमजोर है, लेकिन 2016 में अबरार के शानदार प्रदर्शन और 53 विकेट ने उनकी टीम को पहली बार स्थानीय खिताब दिलाया। बस वहीं से अबरार का नाम की चर्चा होने लगी। उन्होंने राशिद लतीफ अकादमी में ट्रेनिंग ली और वह मुहम्मद मसरूर की देखरेख में और निखरे। मसरूर उस शहर में क्रिकेट की ट्रेनिंग के लिए एक चर्चित नाम है।
एज-ग्रुप क्रिकेट से नाम कमाया
अबरार ने एज-ग्रुप क्रिकेट के जरिये सबकी नजरों में आए। उन्होंने पहली बार व्हाइट बॉल क्रिकेट से अपना नाम बनाया था। वह पहली बार पाकिस्तान सुपर लीग में कराची किंग्स के लिए खेलते हुए सुर्खियों में आए थे। 2017 में वह इस टीम के लिए उभरते सितारे बने थे। उन्होंने अपने दो मैचों में कोई विकेट नहीं लिए, इयोन मॉर्गन को अपनी गेंद से खूब परेशान किया था।
पाकिस्तान सुपर लीग में शानदार प्रदर्शन
एक मैच में जिसमें मॉर्गन ने 57 गेंदों की ताबड़तोड़ पारी खेली थी, उस मैच में अबरार ने मॉर्गन को 16 गेंदें फेंकी, जिसमें से सात डॉट बॉल रहे। मॉर्गन को उन्होंने सिर्फ एक छक्का लगाने दिया 17 रन खर्च किए। तब पाकिस्तान के कोच मिकी आर्थर इस नए टैलेंट को लेकर काफी उत्साहित थे। कुमार संगकारा और महेला जयवर्धने दोनों अबरार से खूब प्रभावित हुए थे।
चोट के कारण रुक गया था करियर
मॉर्गन को कड़ी टक्कर देने के बाद अबरार एक और मैच खेले थे। हालांकि, इसके बाद पीठ के निचले हिस्से में चोट की वजह से क्रिकेट से गायब हो गए। 2020 में वह एक्शन में लौटे। नेशनल टी20 सेकेंड इलेवन कप में सिंध सेकंड इलेवन के लिए खेलते हुए 6.25 की इकोनॉमी रेट के साथ 16 के स्ट्राइक रेट से तीन विकेट लिए। उन्होंने रेड बॉल क्रिकेट में और भी बेहतर किया। उस साल कायदे आजम सेकेंड इलेवन ट्रॉफी में उन्होंने 11.75 पर 57 विकेट लिए और टूर्नामेंट में तीसरे सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज रहे।
कायदे आजम ट्रॉफी में शानदार प्रदर्शन
इस प्रदर्शन के बाद अबरार और चर्चाओं में आए और उन्हें कायदे आजम टूर्नामेंट में प्लेइंग-11 में जगह मिलने लगी। हालांकि, वह कभी टीम में रेगुलर नहीं रहे। पर जब भी अबरार को मौका मिला, उन्होंने विकेट चटकाए। कायदे आजम ट्रॉफी के 2020-21 सीजन में उन्होंने 16 विकेट, 2021-22 सीजन में 17 विकेट और मौजूदा सीजन में 43 विकेट लिए।
कोच मसरूर की बातों को सच साबित किया
कोच मसरूर के मुताबिक, अबरार को रेड-बॉल क्रिकेट में बहुत कम आंका गया। कोच का कहना है कि अगर अबरार पूरी तरह से फिट रहते हैं तो वह पाकिस्तान के लिए एक फुल पैकेज हैं। मसरूर कहते हैं अबरार सिर्फ ओवर निकालने के लिए गेंदबाजी नहीं करते, बल्कि वह विकेट लेने की कला जानते हैं। उनकी गेंदबाजी में विविधता है और जिस तरह का नियंत्रण है, वह पाकिस्तान के लिए मेनस्ट्रीम गेंदबाज बन सकता है। अबरार ने अब पाकिस्तान के लिए शानदार प्रदर्शन कर अपने कोच की बात को सही ठहराया है।