जहां हॉकी थामी वहां सम्मानित होना गर्व की बातः अंकित पाल
एशियाई गोल्ड मेडलिस्ट का दर्पण मिनी स्टेडियम में हुआ सम्मान
खेलपथ संवाद
ग्वालियर। किसी भी खिलाड़ी के जीवन में पहला मैदान और पहला प्रशिक्षक विशेष होता है। यद्यपि अब खिलाड़ी परिस्थितियों को देखकर अपने फैसले लेते या फिर बदलते हैं। यह खुशी की बात है कि हाल ही में ओमान में भारत को पांचवीं बार जूनियर एशिया कप हॉकी का खिताब दिलाने वाले अंकित पाल न ही पहला मैदान भूले न ही अपने खेलगुरु को। दर्पण स्टेडियम में सम्मान के बाद अंकित ने कहा कि जहां हॉकी थामी वहां सम्मानित होना उनके लिए गर्व की बात है।
जूनियर एशिया कप हॉकी प्रतियोगिता (मस्कट ओमान) में भारत ने पांचवीं बार स्वर्ण पदक जीता, ग्वालियर के होनहार हॉकी खिलाड़ी अंकित पाल भी भारतीय टीम के सदस्य रहे। अपने गृह नगर आगमन पर अंकित का पहले रेलवे स्टेशन फिर दूसरे दिन उस दर्पण क्रीड़ांगन में उनके गुरु अविनाश भटनागर द्वारा सम्मान किया गया, जहां उन्होंने पहली दफा हॉकी थामी थी।
खेल एवं युवा कल्याण विभाग ग्वालियर एवं महादजी सिंधिया हॉकी अकादमी के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित उक्त कार्यक्रम में मुख्य अतिथि जयप्रकाश राजौरिया (पूर्व उपाध्यक्ष, पाठ्य पुस्तक निगम मध्य प्रदेश एवं भिंड एवं मुरैना के प्रभारी) ने अंकित पाल को स्मृति चिह्न एवं अंग वस्त्र पहनाकर सम्मानित किया। मुख्य अतिथि की आसंदी से उन्होंने खिलाड़ियों से दर्पण मिनी स्टेडियम के वरिष्ठ खिलाड़ियों एवं प्रशिक्षक से मार्गदर्शन लेकर प्रदेश और देश के लिए खेलने का आह्वान किया। इस अवसर पर श्री राजौरिया ने दर्पण मिनी स्टेडियम पर एस्ट्रो टर्फ लगाए जाने हेतु शासन स्तर पर प्रयास किए जाने का भरोसा दिया।
इससे पूर्व अतिथियों का स्वागत मदन गुप्ता, विवेक पिशाल, निक्की कौशल, अर्जुन शर्मा, संगीता दीक्षित, रितु तिर्की आदि ने किया। कार्यक्रम का संचालन अविनाश भटनागर द्वारा किया गया। कार्यक्रम में भाजपा के मंडल अध्यक्ष शिव सिंह यादव, सत्येंद्र शर्मा, आदि मौजूद रहे।