पूजा रानी का सपना टोक्यो में स्वर्ण पदक हो अपना

ओलम्पिक में गोल्डन पंच लगाने को तैयार बॉक्सर 
नीदरलैंड्स, ग्रेट ब्रिटेन और रूस के मुक्केबाजों पर नजर
खेलपथ संवाद
नई दिल्ली।
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर जब भी बात मुक्केबाजी की आती है तो विश्व में सबसे पहले क्यूबा का नाम आता है, जबकि भारत की बात करें तो हरियाणा के भिवानी को मिनी क्यूबा कहा जाता है। जहां से कविता चहल, जितेंद्र कुमार, विकास कृष्णन और ओलम्पिक पदक विजेता विजेंद्र सिंह जैसे दिग्गज मुक्केबाज निकलकर आए हैं। इसी कड़ी को अब पूजा रानी आगे बढ़ा रही हैं, जो टोक्यो ओलम्पिक में भारत के लिए गोल्डन पंच लगाने को तैयार हैं।
बॉक्सर पूजा रानी के लिए खेल ही पूजा हैं। 12 साल पहले मुक्केबाजी का पहला पंच लगाने वाली पूजा बताती हैं कि कैसे 2016 ओलम्पिक के समय उनका करियर खत्म होने की कगार पर था। मगर हार न मानते हुए उन्होंने अपने पंचों पर फिर से जोर डालते हुए टोक्यो तक का सफर तय कर किया। 
30 वर्षीय अनुभवी पूजा 2016 रियो ओलम्पिक में जगह नहीं बना पाई थीं। उस समय को याद करते हुए उन्होंने कहा, 'उस समय ऐसा लगा था कि मेरा करियर खत्म हो  जाएगा और मैं दोबारा रिंग में नहीं उतर पाऊंगी, क्योंकि उसी साल दीवाली के दौरान पटाखे जलाते हुए मेरा दायां हाथ जल गया था, जिससे उबरने में छह महीने लगे और अगले ही साल 2017 में मेरे कंधे में चोट आ गई थी। 
एक तरफ ओलम्पिक में भाग न ले पाना बहुत कचोट रहा था। ऐसा लग रहा था कि कभी ओलम्पिक नहीं खेल पाऊंगी। हालांकि, मेरे कोच, परिवार और लक्ष्य फाउंडेशन ने मेरा साथ दिया, जिससे मैं रिंग में दोबारा वापसी कर पाई। पूजा ने हाल ही में एशियाई मुक्केबाजी चैम्पियनशिप में स्वर्ण पदक जीता था। इस बारे में पूजा ने कहा, 'ओलम्पिक से पहले खेला जाने वाला यह अंतिम टूर्नामेंट था और इसमें स्वर्ण पदक जीतने से काफी आत्मविश्वास बढ़ा है। इसके साथ ही यह भी पता चलता है कि हमारी लय और तैयारी सही दिशा में जा रही है।'
75 किलोग्राम भारवर्ग में रिंग में उतरने वाली पूजा ने टोक्यो ओलम्पिक की तैयारी और पदक जीतने की राह में आने वाली चुनौती को लेकर कहा, 'मैं इस समय इटली में अभ्यास कर रही हूं और तैयारी काफी अच्छी चल रही है। मैं ज्यादातर तकनीक पर ध्यान केंद्रित कर रही हूं। वहीं पदक के लिए मेरे भार वर्ग में कुल 16 मुक्केबाज हैं, लेकिन नीदरलैंड्स, ग्रेट ब्रिटेन और रूस के मुक्केबाजों पर नजरें होंगी। मैं उन सबके खिलाफ वीडियो देखकर अनुसरण कर रही हूं और अपना गेम प्लान तैयार कर रही हूं।'
पूजा की उपलब्धियांः -2021 एशियाई चैम्पियनशिप में स्वर्ण पदक, 2019 एशियाई चैम्पियनशिप में स्वर्ण पदक, 2012 एशियाई चैम्पियनशिप में रजत पदक, 2015 एशियाई चैम्पियनशिप में कांस्य पदक, 2014 एशियाई चैम्पियनशिप में कांस्य पदक।

 

रिलेटेड पोस्ट्स