लगातार दूसरे साल अर्जुन पुरस्कार के लिए अनदेखी पर नाराज हुए प्रणय

नई दिल्ली। भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी एचएस प्रणय लगातार दूसरे साल अर्जुन पुरस्कार के लिए नामांकित नहीं किये जाने से गुस्से में हैं और उन्होंने कहा कि भारतीय बैडमिंटन संघ (बीएआई) ने उनसे कम उपलब्धि वाले खिलाड़ियों के नाम की सिफारिश की है बीएआई ने मंगलवार को सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी की शीर्ष युगल जोड़ी तथा पुरुष एकल खिलाड़ी समीर वर्मा ने नाम की सिफारिश इस पुरस्कार के लिए की थी।

प्रणय ने अपनी नाराजगी ट्विटर पर व्यक्त की। उन्होंने लिखा, ''अर्जुन पुरस्कार के लिए वही पुरानी चीज। राष्ट्रमंडल खेलों और एशियाई चैम्पियनशिप में पदक जीतने वाले खिलाड़ी के नाम की सिफारिश संघ द्वारा नहीं की गयी जबकि जो खिलाड़ी इन दोनों प्रतिष्ठित प्रतियोगिताओं में नहीं था, उसकी नाम की अनुशंसा की गई है। वाह।''

उन्होंने अपने पिछले साल के ट्वीट को भी टि्वटर पर  पिन टू टॉप कर दिया है। उन्होंने पिछले साल भी अर्जुन अवॉर्ड के लिए उनका नाम नॉमिनेट नहीं किए जाने पर नाराजगी जाहिर की थी।

इन तीन नामांकन में से सात्विक-चिराग की जोड़ी ने 2018 राष्ट्रमंडल खेलों में रजत पदक जीता था,  लेकिन समीर कभी भी इसमें नहीं खेले हैं। प्रणय का पिछले साल का प्रदर्शन हालांकि इतना शानदार नहीं रहा, लेकिन वह 2018 में शानदार फॉर्म में थे।

25 साल के इस खिलाड़ी ने 2018 में तीन खिताब अपने नाम किए थे और अपने करियर की सर्वश्रेष्ठ विश्व रैंकिंग (11) हासिल की थी। इस शानदार प्रदर्शन के बूते वह बीडब्ल्यूएफ विश्व टूर फाइनल्स 2018 में भी जगह बनाने में सफल रहे और सेमीफाइनल तक पहुंचे थे। 

बीएआई ने कहा, ''खेल मंत्रालय को नामों की सिफारिश करने से पहले पिछले चार वर्षों में खिलाड़ियों और कोचों के प्रदर्शन का अच्छी तरह आकलन किया था।'' पिछले चार वर्षों में प्रणय का 2018 में शानदार प्रदर्शन किया, जिसमें वह उस भारतीय मिश्रित टीम का हिस्सा थे, जिसने पहली बार राष्ट्रमंडल खेलों में स्वर्ण पदक जीता था। प्रणय को राष्ट्रमंडल खेलों के पूर्व चैम्पियन पारूपल्ली कश्यप से भी सहयोग मिला। कश्यप ने ट्वीट किया, ''पुरस्कार के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया कभी समझ नहीं आयी। मैं उम्मीद करता हूं कि यह बदले। मजबूत बने रहो।''

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