किस्मत ने हरजिंदर कौर को दिलाया कांस्य

वेटलिफ्टिंग में सात पदक समेत भारत ने अब तक कुल नौ मेडल जीते
बर्मिंघम।
बर्मिंघम कॉमनवेल्थ गेम्स में वेटलिफ्टर हरजिंदर कौर ने 71 किलोग्राम वर्ग में कांस्य पदक जीत लिया है। उन्होंने कुल 212 किलोग्राम वजन उठाकर देश को नौवां पदक दिलाया। हरजिंदर ने फाइनल मुकाबले में स्नैच राउंड में 93 किलोग्राम और क्लीन एंड जर्क में 119 किलोग्राम वजन उठाया। इंग्लैंड की साराह डेविस ने कुल 229 किलोग्राम वजन उठाकर स्वर्ण पदक अपने नाम किया वहीं, कनाडा की एलेक्सिस एशवर्थ ने 214 किलोग्राम वजन उठाकर रजत पदक अपने नाम किया। 
यह भारत का चौथे दिन (सोमवार) का तीसरा पदक रहा। इससे पहले सोमवार को भारत ने जूडो में दो पदक हासिल किए। सुशीला देवी ने रजत पदक और विजय यादव ने कांस्य पदक अपने नाम किया। भारत को कुल नौ पदकों में से सात पदक वेटलिफ्टिंग में मिले हैं। महिला वेटलिफ्टिंग में अपने-अपने भारवर्ग में मीराबाई चानू ने स्वर्ण, बिंदियारानी देवी ने रजत और हरजिंदर कौर ने कांस्य पदक जीता। वहीं, पुरुषों में अपने-अपने भारवर्ग में अचिंता शेउली और जेरेमी लालरिनुंगा ने स्वर्ण, संकेत सरगर ने रजत और गुरुराजा पुजारी ने कांस्य पदक अपने नाम किया था।
हरजिंदर का प्रदर्शन
स्नैच: हरजिंदर ने पहले प्रयास में 90 किग्रा भार के लिए अपना नाम दिया था। वह इस वजन को नहीं उठा सकीं। दूसरे प्रयास में उन्होंने 90 और तीसरे में 93 किग्रा भार उठा लिया। 93 किग्रा उनका पर्सनल बेस्ट भी है। इस तरह स्नैच राउंड में उनका स्कोर 93 किग्रा रहा। क्लीन एंड जर्क: इस राउंड में हरजिंदर के तीनों प्रयास सफल रहे। उन्होंने पहले प्रयास में 113 किग्रा, दूसरे में 116 किग्रा और तीसरे में 119 किग्रा भार उठाया। इस तरह क्लीन एंड जर्क राउंड में उनका स्कोर 119 किग्रा रहा।
भाग्य ने दिया हरजिंदर का साथ
हरजिंदर ने स्नैच और क्लीन एंड जर्क राउंड के बाद कुल 212 किलोग्राम का वजन उठाया। इसके बाद ऐसा लग रहा था कि वह कांस्य नहीं जीत पाएंगी। उनसे आगे एलेक्सिस एशवर्थ थीं। उन्होंने 214 किलोग्राम भार उठाया था। तब नाइजीरिया की जोए ओगबोने और इंग्लैंड की सारा डेविस आने वाली थीं। दोनों के बीच स्वर्ण पदक के लिए टक्कर था, लेकिन खेल यहीं पलट गया। नाइजीरिया की जो ओगबोने ने स्नैच राउंड में 100 किलोग्राम भार उठाया था। क्लीन एंड जर्क में उन्होंने 125 किलोग्राम के लिए अपना नाम दिया था। वह तीनों प्रयास में इस वजन को उठाने में नाकाम रहीं। इस तरह हरजिंदर का पदक पक्का हो गया। अब सारा डेविस की बारी थी। वह अगर तीनों प्रयास में फेल हो जातीं तो हरजिंदर को रजत मिल जाता, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। सारा का पहला प्रयास तो असफल रहा, लेकिन दूसरे में उन्होंने 126 किग्रा भार उठाकर अपना कुल स्कोर 229 किग्रा कर दिया। इस तरह वह स्वर्ण जीत गईं।
भारत की नजर पिछले रिकॉर्ड पर
राष्ट्रमंडल खेलों के पिछले संस्करण में भारतीय वेटलिफ्टर्स ने पांच स्वर्ण सहित कुल नौ पदक जीते थे। तब टीम इंडिया वेटलिफ्टिंग की बेस्ट टीम रही थी। वहीं, इस बार बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में वेटलिफ्टिंग में अब तक भारत को तीन स्वर्ण समेत सात पदक मिल गए हैं। 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स में वेटलिफ्टिंग में भारत पदक के मामले में टॉप पर है। अब यह देखना है कि भारत 2018 राष्ट्रमंडल खेलों के रिकॉर्ड को तोड़ पाता है या नहीं।

 

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