पहलवान विनेश फोगाट ने जीता पोलैंड ओपन का स्वर्ण

सत्र का तीसरा खिताब जीतकर टोक्यो ओलम्पिक में पदक की सम्भावना बढ़ाई
वारसॉ।
भारत की स्टार पहलवान विनेश फोगाट ने पोलैंड ओपन के 53 किलोग्राम में स्वर्ण पदक जीतकर साबित किया कि टोक्यो ओलम्पिक के लिए उनकी तैयारियां सही दिशा में आगे बढ़ रही हैं। इससे ओलम्पिक से पहले उन्हें मैट पर कुछ अहम समय भी बिताने को मिल गया। 26 साल की विनेश का यह सत्र का तीसरा खिताब है, उन्होंने मार्च में माटियो पेलिकोन और अप्रैल में एशियाई चैम्पियनशिप का स्वर्ण पदक भी अपनी झोली में डाला था। 
इस जीत से विनेश संभवत: टोक्यो ओलम्पिक में शीर्ष वरीय पहलवान बन जायेंगी। शुरुआत में 2019 विश्व चैम्पियनशिप की कांस्य पदक विजेता एकातेरिना पोलेशचुक के खिलाफ मुकाबले को छोड़कर विनेश को अपनी किसी भी प्रतिद्वंद्वी से परेशानी नहीं हुई और उन्होंने पोडियम में शीर्ष स्थान तक पहुंचने के दौरान केवल दो अंक ही गंवाये। फाइनल में यूक्रेन की ख्रिस्टिना बेरेजा के खिलाफ उन्होंने एक भी अंक नहीं गंवाया और 8-0 से जीत दर्ज की। विनेश ने अपने ज्यादातर अंक ‘डबल-लेग अटैक’ से बनाये जबकि 2019 यूरोपीय रजत पदक विजेता बेरेजा पूरे मुकाबले में रक्षात्मक बनी रहीं। 
विश्व कांस्य पदक विजेता और एशियाई खेलों की चैम्पियन विनेश को पोलेशचुक के खिलाफ 6-2 की जीत हासिल करने में संघर्ष करना पड़ा था वहीं सेमीफाइनल में अमेरिकी प्रतिद्वंद्वी एमी एन्न फेर्नसाइड को उन्होंने महज 75 सेकेंड में पिन (चित) कर दिया। विनेश को शुरुआती दौर में पोलेशचुक की रक्षात्मक खेल से कड़ी चुनौती मिली। उन्होंने रूस की इस पहलवान के खिलाफ बायें पैर पर हमला करने की रणनीति अपनायी लेकिन उनका दांव उलटा पड़ गया और पोलेशचुक ने 2-0 की बढ़त कायम कर ली। विनेश ने दूसरे पीरियड में प्रतिद्वंद्वी के दोनों पैरों पर हमला किया और स्कोर को 2-2 करने में सफल रही। 
पोलेशचुक ने इसके बार तकनीकी गलती कर दी जिससे विनेश ने दो अंक और हासिल कर लिये। उन्होंने रूसी पहलवान को एक और बार पटखनी देकर 6-2 से मुकाबला अपने नाम कर लिया। अगले दौर में हालांकि उन्हें आसानी से जीत मिल गयी। उन्होंने अमेरिकी पहलवान को महज 75 सेकेंड में चित कर दिया। इस समय वह मैच में 6-0 से आगे चल रही थीं। इससे पहले अंशु मलिक को बुखार के कारण 57 किलोग्राम के भार वर्ग से टूर्नामेंट से हटना पड़ा था।

 

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