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नई दिल्ली। आईसीसी कोरोना के कारण अधर में लटकी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप (डब्ल्यूटीसी) के मैच पूरे करवाने के लिये इसे 4 महीने आगे खिसकाने और इसके कार्यक्रम में बदलाव करने पर विचार कर रही है, लेकिन इससे भारत पर असर नहीं पड़ेगा और वह आगे भी इसमें अपनी मजबूत स्थिति बरकरार रख सकता है। भारत ने डब्ल्यूटीसी में अब तक सर्वाधिक 4 श्रृंखलाएं खेली हैं, जिसमें से तीन में उसने जीत दर्ज की। इससे उसके 360 अंक हैं और वह शीर्ष पर काबिज है। आस्ट्रेलिया 3 श्रृंखलाओं में 296 अंक लेकर दूसरे स्थान पर है, जबकि न्यूजीलैंड (3 श्रृंखलाओं में 180) तीसरे, इंग्लैंड (2 श्रृंखलाओं में 146) चौथे और पाकिस्तान (2 श्रृंखलाओं में 140) पांचवें स्थान पर है। अंकतालिका में इनके बाद श्रीलंका और दक्षिण अफ्रीका का नंबर आता है। वेस्टइंडीज और बांग्लादेश ने डब्ल्यूटीसी के तहत एक-एक श्रृंखला खेली है और वे अभी तक खाता नहीं खोल पाये हैं। आईसीसी के अनुसार डब्ल्यूटीसी के अंतर्गत किसी एक देश को 6 श्रृंखलाएं (तीन स्वदेश, तीन विदेश) खेलनी होती हैं। भारत 2 श्रृंखलाएं विदेश और दो स्वदेश में खेल चुका है।
ये सभी श्रृंखलाएं दो या तीन टेस्ट मैचों की थी, जिनमें जीतने पर भारतीय टीम को पूरे अंक मिल गये। विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में एक श्रृंखला में अधिकतम 120 अंक हासिल किये जा सकते हैं। अगर भारत 2018-19 का अपना रिकार्ड बरकरार रखता है तो वह अपने अंकों में इजाफा कर सकता है। भारत ने आस्ट्रेलिया के पिछले दौरे में श्रृंखला 2-1 से जीती थी। भारतीय टीम अगले साल जनवरी में 5 टेस्ट मैचों के लिये इंग्लैंड की मेजबानी करेगी। यह उसकी डब्ल्यूटीसी के तहत अंतिम श्रृंखला भी होगी। इंग्लैंड के लिये भारतीय सरजमीं पर खेलना आसान नहीं रहा है। इससे पहले उसकी टीम 2016 के आखिर में भारत दौरे पर आयी थी तब भारतीय टीम ने उसे पांच मैचों की श्रृंखला में 4-0 करारी शिकस्त दी थी।