Visit Website
Logout
Welcome
Logout
Dashboard
Social Links
Advertisment
Add / Edit Category
Add News
All News
Newspaper
Book
Videos
Bottom Marquee
About
Sampadika
Contact
Change Password
Dashboard
News Edit
Edit News Here
News Title :
News title should be unique not use -,+,&, '',symbols
News Image:
Category:
अपनी बात
शख्सियत
साक्षात्कार
आयोजन
मैदानों से
ग्वालियर
राज्यों से
क्रिकेट
स्लाइडर
प्रतिभा
अंतरराष्ट्रीय
शिक्षा
Description:
इस ओलम्पिक सत्र में भत्ते में होगी बढ़ोत्तरी
खेलपथ संवाद
नई दिल्ली।
खेल मंत्रालय की टारगेट ओलम्पिक पोडियम योजना (टॉप्स) के लिए चुने गए खिलाड़ियों को इस ओलम्पिक चक्र में अभ्यास और विदेश में स्पर्धाओं के दौरान मिलने वाले भत्ते में बढ़ोतरी की जाएगी, लेकिन उन्हें हर छह महीने में समीक्षा की प्रक्रिया के तहत शारीरिक और मनोवैज्ञानिक टेस्ट देने होंगे।
टॉप्स का कोर समूह 179 से घटाकर 94 कर दिया गया है और डेवलपमेंटल सूची में 112 खिलाड़ी हैं। एक ओलंपिक चक्र पूरा होने के बाद यह आम रूटीन होता है लेकिन तैराकी, स्क्वॉश, गोल्फ और टेनिस जैसे खेलों का कोर सूची में नाम नहीं है।
कोर समूह में 52 पैरा एथलीट और 42 सामान्य एथलीट हैं। पेरिस पैरालम्पिक में भारत ने सात स्वर्ण समेत 29 पदक जीतकर ऐतिहासिक प्रदर्शन किया था। सूची में शामिल खिलाड़ियों को विदेश में अभ्यास या स्पर्धा के दौरान 25 अमेरिकी डॉलर प्रतिदिन और 50000 रूपये (कोर समूह) और 25000 रूपये (डेवलपमेंटल समूह) महीना दिया जाएगा।
भारतीय खेल प्राधिकरण के मिशन ओलंपिक सेल (एमओसी) के एक सदस्य ने बताया, 'कोर समूह अगले ओलंपिक यानी 2028 लॉस एंजिलिस ओलंपिक का अल्पकालीन लक्ष्य लेकर बनाया गया है जबकि डेवलपमेंटल समूह 2032 ओलंपिक और शायद 2036 को ध्यान में रखकर बनाया गया है।'
सूत्र ने कहा, 'हम यह भी कोशिश कर रहे हैं कि चोटों में कमी आए। इसके लिए नियमित तौर पर शारीरिक और मनोवैज्ञानिक टेस्ट होंगे। पहले भी टेस्ट होते थे, लेकिन अब हमने अवधि तय कर दी है और ये टेस्ट अनिवार्य होंगे।' कोर सूची में कोई पुरूष मुक्केबाज नहीं है और एथलेटिक्स में भी तीन (पिछली बार से 27 कम ) ही जगह बना सके हैं। खराब फॉर्म से जूझ रहे बैडमिंटन खिलाड़ी के श्रीकांत और अश्विनी पोनप्पा के अलावा भारत के शीर्ष रैंकिंग वाले एकल खिलाड़ी सुमित नागल भी इससे बाहर हो गए हैं।
रिकर्व तीरंदाज दीपिका कुमारी और भारोत्तोलक मीराबाई चानू इसमें जगह बनाने में कामयाब रही हैं जो हैरानी की बात है। दीपिका कई बार ओलंपिक में नाकाम रह चुकी हैं, जबकि टोक्यो में रजत पदक जीतने के बाद मीराबाई पेरिस में चौथे स्थान पर रही। दोनों 30 पार की हैं। दीपिका का ओलंपिक में भविष्य अनिश्चित है जबकि मीराबाई लगातार चोटों से जूझती रही हैं। सूत्र ने कहा, 'हमें ऐसा कोई नहीं मिला जो दीपिका को हरा सके तो उसे कैसे हटायें । उसने पेरिस ओलंपिक के लिये क्वालीफाई किया था और नॉकआउट तक पहुंची थी। मीराबाई की फिटनेस पर नजर रखी जाएगी।'