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खेलपथ संवाद नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने निवास पर ओलम्पियाड स्वर्ण जीतने वाली भारतीय शतरंज टीमों की मेजबानी के दौरान कृत्रिम मेधा (एआई) और भारत को खेलों की महाशक्ति बनाने की महत्वाकांक्षा पर चर्चा की। मोदी ने इस चर्चा में खिलाड़ियों की दबाव भरे टूर्नामेंट में उनकी मानसिकता भी समझने का प्रयास किया। चर्चा में पहली बार ओलम्पियाड स्वर्ण पदक जीतने वाली पुरुष और महिला दोनों टीमों ने प्रधानमंत्री के साथ अपने अनुभव साझा किए और उनसे खेलों में उनकी दिलचस्पी के बारे में भी पूछा। पुरुष टीम में विश्व चैम्पियनशिप के सबसे कम उम्र के चैलेंजर डी गुकेश, आर प्रज्ञानानंदा, अर्जुन एरिगेसी, विदित गुजराती, पी. हरिकृष्णा और कप्तान श्रीनाथ नारायणन शामिल थे। महिला टीम में आर वैशाली, तानिया सचदेव, डी हरिका, दिव्या देशमुख और वंतिका अग्रवाल शामिल थीं। उनके कप्तान अभिजीत कुंटे भी चर्चा में मौजूद थे। पीएम ने जब शतरंज और एआई संबंधी सवाल पूछा तो प्रज्ञानानंदा ने कहा, ‘एआई से शतरंज का विकास हुआ है। कम्प्यूटर बहुत मजबूत प्रतिद्वंद्वी होते हैं जिससे नये विचार मिलते हैं।’ बताया गया कि सभी खिलाड़ी प्रधानमंत्री से मंत्रमुग्ध थे और वंतिका तो इस बात से हैरान थीं कि मोदी को शनिवार को आने वाले उनके जन्मदिन के बारे में भी पता था।