News title should be unique not use -,+,&, '',symbols
बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में जीता स्वर्ण खेलपथ संवाद बेंगलुरु। भारत के स्टार बैडमिंटन खिलाड़ी लक्ष्य सेन का बुधवार को बेंगलुरु एयरपोर्ट पर जोरदार स्वागत किया गया। फैन्स और परिवार वालों ने बैंडबाजे के साथ उनका स्वागत किया। लक्ष्य ने बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में मेन्स सिंगल्स में मलेशिया के एंग जे योंग को फाइनल में कड़े मुकाबले में हराकर स्वर्ण पदक अपने नाम किया। लक्ष्य फाइनल में पहला गेम हार गए थे। इसके बाद उन्होंने जबरदस्त वापसी की और बाकी दो गेम अपने नाम किए। लक्ष्य राष्ट्रमंडल खेलों में बैडमिंटन के पुरुष एकल में पदक जीतने वाले भारत के 10वें खिलाड़ी और स्वर्ण जीतने वाले चौथे एथलीट बन गए। लक्ष्य से पहले प्रकाश पादुकोण, सैयद मोदी और पारुपल्ली कश्यप स्वर्ण जीत चुके हैं। लक्ष्य अब बर्मिंघम से भारत लौट चुके हैं। एयरपोर्ट पर लक्ष्य के साथ उनके पिता डीके सेन भी मौजूद रहे। इसके साथ ही कोच विमल कुमार भी उनके साथ मौजूद रहे। इस दौरान लक्ष्य ने डांस भी किया। इसके बाद उन्होंने बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में जीतकर लाए दो पदक भी सबको दिखाए। उन्होंने दोनों पदक कोच विमल कुमार को थमा दिए। इस दौरान कोच विमल और लक्ष्य के पिता डीके सेन भी डांस करते नजर आए। पुरुष एकल में स्वर्ण के अलावा लक्ष्य ने बैडमिंटन मिक्स्ड टीम इवेंट में रजत भी जीता था। मिक्स्ड टीम इवेंट में भारत को मलेशिया के हाथों फाइनल में हार मिली थी। लक्ष्य ने पुरुष एकल के फाइनल में एंग जे योंग को हराने के साथ ही किदांबी श्रीकांत का बदला भी ले लिया। दरअसल, एंग जे बर्मिंघम में श्रीकांत को दो बार हराया था। पहले श्रीकांत को मिक्स्ड टीम इवेंट में एंग जे ने हराया था। इससे भारत का टीम इवेंट में लगातार दूसरी बार स्वर्ण जीतने का सपना अधूरा रह गया था। इसके बाद पुरुष एकल के सेमीफाइनल में भी श्रीकांत को मलेशिया के एंग जे के हाथों हार मिली थी। इससे उनका राष्ट्रमंडल खेलों में स्वर्ण जीतने का सपना पूरा नहीं हो पाया था। श्रीकांत को कांस्य से संतोष करना पड़ा। ऐसे में लक्ष्य ने फाइनल में एंग जे को हराकर श्रीकांत का बदला भी ले लिया। बैडमिंटन में पुरुष एकल में स्वर्ण और कांस्य पर भारत का कब्जा रहा। वहीं, एंग जे ने रजत जीता। इसके अलावा महिला एकल में पीवी सिंधु ने स्वर्ण पदक अपने नाम किया। बैडमिंटन के पुरुष एकल में लक्ष्य से पहले दिनेश खन्ना (1966, कांस्य), प्रकाश पादुकोण (1978, स्वर्ण), सैयद मोदी (1982, स्वर्ण), पुलेला गोपीचंद (1998, कांस्य), चेतन आनंद (2006, कांस्य), पारुपल्ली कश्यप (2010, कांस्य), पारुपल्ली कश्यप (2014, स्वर्ण), गुरुसाई दत्त (2014, कांस्य), किदांबी श्रीकांत (2018, रजत), किदांबी श्रीकांत (2022, कांस्य) राष्ट्रमंडल खेलों में पदक जीत चुके हैं।